Thursday, April 30, 2020

पूछता है भारत काला धन कहां है,कर्मचारियों के महंगाई भत्ते में कटौती के स्थान पर कालाधन को देशहित में उपयोग किया जाना चाहिए


नवीन शिक्षक संघ छःत्तीसगढ़ के प्रदेश अध्यक्ष विकास सिंह राजपूत ने केंद्र सरकार से निवेदन करते हुए कहा है कि कर्मचारियों के महंगाई भत्ते में कटौती के स्थान पर विदेशो में जमा कालाधन को अब वापस लाने का सही समय है और उसी कालाधन को आम जनता के खातों में जमा करना चाहिए,2013-14 लोकसभा चुनाव में कालाधन लाकर जनता में बांटने वाले अब चुप क्यों है,कालाधन लाओ और प्रत्येक जनता तक कालाधन पहुंचाओ,कालाधन वापस लाकर भारत के जनता के साथ न्याय करे,महंगाई भत्ता में कटौती कर कर्मचारियों के साथ अन्याय न करे,जो वादा किया उसे निभाना चाहिए और कालाधन वापस लाना चाहिए!
*घंटी बजाओ*
,अब तो बाबा जी भी चुप है शायद कालाधन के बारे में उनका अनुमान गलत था,कुछ लोग कालाधन वापस लाकर  भारत के प्रत्येक लोगो को 15 लाख देने की बात कही थी बाद में उसे जुमला कहकर पल्ला झाड़ दिया है,कालाधन कहाँ है,2013-14 के चुनाव पूर्व बहुत हल्ला मचाया था अब क्या जितने अनुमान लगा रहे थे वो झूठा अनुमान था सिर्फ चुनावी लाभ लेने के लिए और ऐसा नही है तो कालाधन वापस लेकर अब देशहित में उपयोग करना चाहिये!
     *डी. एन. ए.*
प्रदेश अध्यक्ष विकास सिंह राजपूत ने आगे कहा कि पहले सरकार द्वारा पुरानी पेंशन योजना समाप्त कर लाखो कर्मचारियों के हितों पर कुठाराघात किया गया पुरानी पेंशन योजना बन्द होने से कर्मचारियों को भारी नुकसान का सामना करना पड़ रहा है,कर्मचारियों को सेवानिवृत्त होने के बाद पेंशन के रूप में कितना मिलेगा ये शेयर मार्केट तय करेगा,हो सकता है कि नौकरी समाप्त होने के बाद कर्मचारियों को फूटी कौड़ी भी नही मिलेगा जिससे कर्मचारियों को अपने रिटायरमेंट के बाद भूखे मरने या आत्महत्या करने के अलावा कोई रास्ता ही नही बचेगा,एक तरफ कर्मचारियों को रिटायरमेंट के बाद शेयर मार्केट के आधार पर कुछ राशि व मामूली पेंशन मिलने की संभावना है वही संसद व विधानसभा सदस्य बनने के बाद सांसद व विधायको को जीवन पर्यंत पेंशन के रूप में एक बड़ी राशि मिलते रहेगा, कर्मचारी लगातार 62 वर्ष के उम्र तक नौकरी के बाद मामूली पेंशन से अपना गुजारा करने पर मजबूर रहेंगे वही एक सांसद व विधायक एक दिन के सदस्य होने बाद भी पूर्ण पेंशन का हकदार,तो क्या नवीन पेंशन योजना से कर्मचारियों को नौकरी के बाद कितना सुरक्षा दे रहे है सरकार,अब केंद्र सरकार द्वारा एक वर्ष तक महंगाई भत्ते में कोई बढोत्तरी नही करने का निर्णय लेकर लाखो कर्मचारियों के साथ अन्याय किया जा रहा है,कोरोना संकट के समय भारत का हर कर्मचारी सरकार के साथ है और आज अपने जीवन का परवाह किये बिना कोरोना वाइरस जैसे वैश्विक महामारी से लगातार संघर्ष कर रहे है,अब सरकार को सोचना है कि कर्मचारियों के लगातार इस विषम परिस्थितियों में भी कोरोना वाइरस से संघर्ष के समय महंगाई भत्ते को न बढ़ाने के निर्णय कितना सही है,कर्मचारियों के महंगाई भत्ते में रोक के स्थान पर भ्रष्ट्र लोगो से जो करोड़ो रूपये बैको से लेकर फरार है ऐसे लोगो से वसूल कर सरकारी खजाने में राजसात कर देश के जरूरतमन्दों तक सहयोग पहुंचाना चाहिए साथ ही कालाधन की राशि को वापस लेकर जरूरतमंद को सहयोग करना चाहिए।
प्रदेश अध्यक्ष विकास सिंह राजपूत ने कहा है कि पुरानी पेंशन योजना बन्द कर नवीन अंशदायी पेंशन योजना से कर्मचारियों का कोई हित नही है अगर हित होता तो सांसद व विधायको को भी नवीन अंशदायी पेंशन के अंतर्गत क्यो नही रखा गया है ये सबसे बड़ा सवाल है और इस सवाल का हल भी सरकार के पास है,सरकार चाहे तो नवीन अंशदायी पेंशन योजना के स्थान पर पुरानी पेंशन योजना लागू कर कर्मचारियों को नौकरी के बाद बुढ़ापे का लाठी प्रदान कर सकता है,सरकार को पुरानी पेंशन योजना लागू करने व महंगाई भत्ते एक वर्ष तक नही देने के निर्णय पर पुनर्विचार कर जल्दी ही कर्मचारियों के हित मे निर्णय लेना चाहिए।
अभी वर्तमान में हम सब भारत के लोग एक अदृश्य बीमारी कोरोना वाइरस से संघर्ष कर रहे है और इस संघर्ष में हम सब भारत के लोग विजेता बनकर पूरे विश्व को भारत के लोगो के शक्ति का अहसास कराएंगे,हम विजेता तभी बन सकते जब हम सरकार के द्वारा दिये गए दिशा-निर्देश के अनुसार चलेंगे इसलिए नवीन शिक्षक संघ छःत्तीसगढ़ सभी लोगो से निवेदन करता है कि घर पर रहे सुरक्षित रहे,समय -समय पर साबुन व सेनेटाइजर का प्रयोग करे,सोशल दूरी का पालन कर अपने आपको व अपने परिवार को सुरक्षित रखे।
      

Sunday, April 26, 2020

ऑनलाइन पढ़ाई के स्थान पर जुलाई से स्कूल में पढ़ाई का दिया सुझाव,मोबाइल का उपयोग छोटे-छोटे बच्चो के लिए नुकसानदायक-नवीन शिक्षक संघ छ. ग.

नवीन शिक्षक संघ छःत्तीसगढ़ प्रदेश अध्यक्ष विकास सिंह राजपूत,जिलाध्यक्ष दुर्ग संजीव मानिकपुरी व ब्लॉक अध्यक्ष पाटन जागेश्वर चन्द्राकर ने नवीन न्यूज से चर्चा करते हुए राज्य शासन के महत्वपूर्ण योजना के लिए ऑनलाइन पढ़ाई के स्थान पर कोरोना वाइरस का प्रभाव जून के अंतिम सप्ताह के बाद भी जारी रहा तो प्रतिदिन एक कक्षा के बच्चों को स्कूल में पढ़ाई कराने का सुझाव देते हुए कहा कि पढाई तुंहर दुआर के अंतर्गत पूरे राज्य में बच्चों को ऑनलाइन शिक्षा के लिए प्रेरित करने की सरकार की योजना है।राज्य के सभी सरकारी स्कूलों के शिक्षकों को वर्चुअल क्लास बनाने के निर्देश दिए जा चुके है।शिक्षकों को निर्देश दिया गया है कि प्रत्येक बच्चे का मोबाइल नंबर लेकर ऑनलाइन ग्रुप से उनको जोड़ा जाए ताकि बच्चे ऑनलाइन पढाई कर सकें।शिक्षकों को प्रतिदिन निर्धारित समय सारिणी के अनुसार वीडियो के माध्यम से पढाना है जिसमे बच्चे ऑनलाइन रहकर पढ़ सके,प्रश्न पूछ सके।साथ ही शिक्षक ऑनलाइन गृहकार्य देकर उनकी जांच भी करेंगे।लेकिन यह व्यावहारिक रूप से संभव नहीं है।सरकारी स्कूलों में पढनेवाले अधिकांश बच्चों के पालको के पास स्मार्टफोन नही है और अगर कुछ लोगों के पास है भी तो नेटवर्क की समस्या है।अधिकतर बच्चे ग्रामीण परिवार से है जिनकी आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है।ऐसे में स्मार्टफोन खरीदना एवं उसको रिचार्ज कराना भी आसान नही है।गांव में नेटवर्क की समस्या भी है।इसके अतिरिक्त ऑनलाइन पढ़ाई से बच्चों के ऊपर गंभीर दुष्प्रभाव से इंकार नही किया जा सकता।छोटे बच्चों को स्मार्टफोन का उपयोग करने पर उनकी आँख में कमजोरी,मस्तिष्क एवं याददाश्त पर गंभीर नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है,ऑनलाइन पढ़ाई करने के बहाने बहुत से बच्चे अब ऑनलाइन गेम खेलना प्रारम्भ कर दिए जिसका नुकसान आने वाले समय मे भयावह होगा।वैसे भी अभी गर्मी की छुट्टियों के दिन है।अतः कम से कम जून तक ऑनलाइन पढाई को बंद करना चाहिए।अगर लॉक डाउन जुलाई के बाद भी जारी रहा तो प्रतिदिन केवल 1 कक्षा को बुलाकर सोशल डिस्टैंसिंग का पालन करते हुए अलग अलग कक्ष में दूर दूर बिठाकर पढ़ाया जा सकता है क्योकि वर्तमान समय मे प्रदेश के अधिकांश स्कूलो में तीन से पांच कक्ष है साथ ही अधिकांश स्कूलो में तीन से पांच शिक्षक है अगर प्रतिदिन एक क्लास के बच्चों को कोरोना संक्रमण के रहने की संभावना में स्कूल में बुलाकर पढ़ाई करवाने से सोशल डिस्टेंस का पालन करना प्रत्येक बच्चे सीखेंगे भी व ऑनलाइन पढ़ाने से बेहतर स्कूल में पढ़ाई से बच्चो को ज्यादा फायदा होगा।साथ ही बच्चों को अविलंब निःशुल्क पुस्तको का वितरण कराया जाये।ताकि बच्चे घर में रहकर भी पढाई से जुड़े रहें।

Thursday, April 23, 2020

केन्द्र सरकार के व्दारा महंगाई भत्ते पर रोक लगाना न्याय संगत नही कहा नवीन शिक्षक संघ छ. ग. ने



केन्द्र सरकार के व्दारा जारी आदेश मे केन्द्रिय कर्मचारीयो का महंगाइ भत्ता जुलाई 2021 तक रोक लगाया गया है केन्द्र सरकार के इस आदेश को  नवीन शिक्षक संघ छ. ग.न्याय संगत नही मानता है इस संबंध मे नवीन शिक्षक संघ के  जिलाध्यक्ष अनुभव तिवारी व प्रदेश अध्यक्ष विकास सिंह राजपूत ने बताया की कोरोना के इस कठिन प्रकोप का सामना पूरे देश मे यदि कोइ कर रहा है तो वह डाक्टर पुलिस व शिक्षक है जो की सरकारी कर्मचारी है वर्तमान समय मे सरकारी तंत्र को इन कर्मचारीयो को प्रोत्साहन देना चाहिए वही उत्साह वर्धन के बजाए कर्मचारीयो के महंगाई भत्ते मे कटौति का आदेश न्यायोचित नही है वर्तमान के कठिन समय मे ये कर्मचारी अपने जान की परवाह ना करते हुए आम जनता को कोरोना संकट से उबारने कार्यालय मे व मैदानी स्तर पर तन मन से लगे हुए है लाकडाउन मे जहां सभी सामान के दाम आसमान छू रहे है वही सरकारी कर्मचारी के महंगाई भत्ते मे कटौति करना दुर्भाग्य जनक है  केन्द्र के कर्मचारीयो के महंगाई भत्ते मे कटौति के आदेश से छत्तीसगढ के कर्मचारीयो पर भी इसका प्रभाव पडेगा ज्ञात हो की पूर्व मे  छत्तीसगढ के कर्मचारीयो को जुलाई 2019 से छत्तीसगढ मे महंगाई भत्ता नही मिला है और अब इस आदेश से और अधिक आर्थिक क्षति होगी नवीन शिक्षक संघ ने छत्तीसगढ प्रदेश के संवेदनशील मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से राज्य के कर्मचारीयो को लंबित महंगाई भत्ता देने की मांग की है और वेतन भत्तो मे किसी भी प्रकार की कटौति नही  करने का निवेदन किया है

Monday, April 20, 2020

छ. ग.प्रदेश में 56 लाख गरीब परिवार कैसे सफल होगा पढ़ई तुंहर द्वार

रायपुर-नवीन शिक्षक संघ छ. ग.के प्रदेश अध्यक्ष विकास सिंह राजपूत ने कहा है कि छ. ग.सरकार की महत्वपूर्ण योजना स्कूली बच्चों को ध्यान रखकर ऑनलाइन पढ़ाई(पढ़ई तुंहर द्वार) की बनाई है निश्चित ही स्वागत योग्य कदम है,अगर अमीर-गरीब,शहरी व ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों को समान रूप से लाभ मिलेगा तो प्रदेश के समस्त शिक्षक मिलकर इस योजना को 100 प्रतिशत सफल बनाने में अपना योगदान देने का प्रयास करेंगे लेकिन अभी महत्वपूर्ण सवाल यह है कि जिस प्रदेश में 56 लाख गरीब परिवार हो और जिनके बच्चे सरकारी स्कूल में पढ़ाई कर रहे है ऐसे गरीब परिवार के बच्चों को बिना स्मार्टफोन के कैसे ऑनलाइन पढ़ाई कराया जाएगा,किसी भी माध्यम से अगर स्मार्टफोन खरीद लेंगे तो नेट पैक डलवाने राशि कहाँ से प्राप्त करेंगे अगर नेट पैक भी डलवा ले तो अधिकांश ग्रामीण क्षेत्रो में नेटवर्क की समस्या को कैसे समाप्त करेंगे,ऑनलाइन पढ़ाई के लिए नेटवर्क अच्छा रहना जरूरी है,अभी के परिस्थिति में ऑनलाइन पढ़ाई का फायदा अमीर व शहरी क्षेत्र के पालको के बच्चों को ही मिल सकता है ग्रामीण व गरीब पालको के बच्चों को नेटवर्क व स्मार्टफोन के अभाव में ऑनलाइन पढ़ाई का फायदा मिलना मुश्किल है,प्रदेश अध्यक्ष विकास सिंह राजपूत ने कहा है कि प्रदेश के कोई भी शिक्षक ऑनलाइन पढ़ाई का विरोधी नही है अगर सभी बच्चों को देखते हुए सरकार योजना बनाती है जिससे अमीर,गरीब,शहरी व ग्रामीण क्षेत्रो के बच्चों को ऑनलाइन पढ़ाई का लाभ मिले तो योजना सफल हो सकता है लेकिन नही लगता कि जिस प्रदेश में 56 लाख गरीब परिवार निवासरत है ऐसे प्रदेश में पढ़ई तुंहर द्वार योजना सफल होगा,अगर शिक्षको पर पढई तुंहर द्वार ऑनलाइन पढ़ाई के लिए दबाव डालकर प्रारम्भ किया जाता है तो नेटवर्क व आर्थिक परिस्थिति को देखते हुए शहरी व सम्पन्न पालको के बच्चों को ज्यादा लाभ होगा बनिस्बत ग्रामीण व गरीब पालको के बच्चों के अपेक्षा,इसलिए प्रदेश के माननीय मुख्यमंत्री जी से निवेदन है कि कोरोना वाइरस संक्रमण को देखते हुए नए शिक्षा-सत्र 1 जुलाई से प्रारम्भ कर प्रदेश के स्कूलो में  बच्चो को बेहतर शिक्षा मिले इस पर ठोस योजना बनाकर रखने हेतु शिक्षा विभाग को निर्देशित करे जिससे ग्रामीण,शहरी,अमीर व गरीब पालको के बच्चों को समान रूप से शिक्षा का लाभ मिले।नवीन शिक्षक संघ छःत्तीसगढ़ सभी जनता जनार्दन से निवेदन करता है कि घर पर रहे सुरक्षित रहे,व शासन प्रशासन के दिशा-निर्देशों का पालन करे।छःत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री जी,स्वास्थ्य मंत्री जी को संघ के तरफ से बहुत-बहुत साधुवाद आपके नेतृत्व में छःत्तीसगढ़ राज्य में कोरोना वाइरस संक्रमण पर बहुत ही बेहतर कार्य कर हम सब छःत्तीसगढ़ वासियो को कोरोना से भयमुक्त रखने के लिए

Wednesday, April 8, 2020

समस्त शिक्षक संवर्ग ने एक दिन का वेतन मुख्यमंत्री राहत कोष में विभाग के माध्यम से किया जमा नवीन शिक्षक संघ ने सभी शिक्षक संवर्ग का किया धन्यवाद

रायपुर-नवीन शिक्षक संघ छःत्तीसगढ़ के प्रदेश अध्यक्ष विकास सिंह राजपूत व महिला प्रकोष्ठ अध्यक्ष उमा जाटव ने कहा है कोरोना वाइरस संक्रमण के इस संकट के घड़ी में पूरे प्रदेश के शिक्षक संवर्ग शासन के साथ कन्धा से कंधा मिलाकर चल रहे है,शासन द्वारा सौपे गए हर कार्य को पूरी निष्ठा के साथ सम्पादित कर रहे है।कोरोना वाइरस के संकट के समय नवीन शिक्षक संघ सहित अन्य शिक्षक संगठनों के द्वारा माननीय मुख्यमंत्री जी के अपील पर समस्त शिक्षक संवर्ग के एक दिन के वेतन मुख्यमंत्री राहत कोष में जमा करने हेतु माननीय मुख्यमंत्री जी को पत्र सौपकर विभागीय माध्यम से एक दिन की वेतन कटौती कर मुख्यमंत्री राहत कोष में जमा करने का निवेदन किया था उसी के तहत मार्च का वेतन शिक्षक संवर्ग को मिलना प्रारम्भ हो गया है और वेतन से एक दिन की वेतन कटौती कर मुख्यमंत्री राहत कोष में विभाग के माध्यम से जमा किया गया।मुख्यमंत्री राहत कोष में विभाग के माध्यम से एक दिन वेतन जमा करने पर प्रदेश के समस्त शिक्षक संवर्ग का नवीन शिक्षक संघ छःत्तीसगढ़ के समस्त पदाधिकारियो गिरीश साहू,अभिनय शर्मा,दुष्यंत कुम्भकार,अमितेश तिवारी,रूपेंद्र सिन्हा,संजय साहू,अजय कडव,राजेश शुक्ला, प्रकाशचन्द कांगे,बलविंदर कौर,ब्रिजनारायन मिश्रा,मनोज चन्द्रा,अमित नामदेव,चन्द्रशेखर रात्रे,देवकांत सिन्हा,सतीस टण्डन,गंगा पासी,ज्योति ठाकुर,तुलेश ठाकुर,नंदिनी देशमुख,संगीत बैस,गीता चन्द्राकर,निर्मला पांडेय,रमन शर्मा सहित समस्त जिलाध्यक्ष,ब्लॉक अध्यक्ष सहित समस्त पदाधिकारियो ने धन्यवाद ज्ञापित किया है।नवीन शिक्षक संघ छःत्तीसगढ़ के समस्त पदाधिकारियो ने राज्य के जनता से अपील किया है शासन के दिशा-निर्देश के अनुसार लॉक डाउन का पालन करते हुए घर पर ही रहे,जिससे हम सब कोरोना जैसे वैश्विक महामारी से सुरक्षित रह सकते है,बिना कार्य के घर के बाहर न निकले,घर पर रहना भी वर्तमान परिस्थिति में देश सेवा व देश भक्ति है।

Friday, April 3, 2020

मुख्यमंत्री ने लिखा गुरुजन को पत्र,कहा शिक्षक को भगवान से भी उच्च दर्जा प्राप्त है,नवीन शिक्षक संघ ने कहा धन्यवाद मुख्यमंत्री जी

रायपुर-छ. ग.प्रदेश के लोकप्रिय मुख्यमंत्री माननीय भूपेश बघेल जी ने प्रदेश में कार्यरत शिक्षको को पत्र लिखकर कोरोना वाइरस से संघर्ष में साथ देने की अपील करते हुए कहा कि प्रत्येक गांव में गुरुजन पालक व बालक से सतत मिलते रहते है इसलिए गुरुजन का प्रदेश के लोगो पर व्यापक प्रभाव है कोरोना वाइरस से बचाव के लिए गुरुजन गांव के प्रत्येक नागरिको व विद्यार्थियों को सामुदायिक दूरी बनाकर रहने,समय-समय पर हाथ धोने ,घर पर रहकर सुरक्षित रहने का संदेश देने की अपील की साथ शासन के दिशा-निर्देश पर चलकर सामुदायिक दूरी बनाते हुए प्रदेश के स्कूलो में पढ़ने वाले कक्षा पहिली से आठवीं तक के विद्यार्थियों को सुखा चावल व दाल वितरण कर शासन का सहयोग करने की बात कही,माननीय मुख्यमंत्री जी ने एक और महत्वपूर्ण  बात कहा है शिक्षक को भगवान से भी उच्च दर्जा प्राप्त है,सभी बच्चों के लिए नैतिक शिक्षा व ज्ञान का स्रोत शिक्षक ही है,कोरोना वाइरस से उतपन्न संकट से रोकथाम के लिए शिक्षको की महत्वपूर्ण भूमिका होने की बात कही है,कोरोना वाइरस से बचाव के लिए प्रदेश के सभी नागरिकों को विद्यर्थियों व पालको के माध्यम से कोरोना वाइरस से बचाव के लिए शिक्षको से संदेश देने की बात कही है,मुख्यमंत्री जी ने कहा है कि आप गुरुजन के सहयोग से कोरोना वाइरस से होने वाले संक्रमण को रोकने में मदद मिलेगा और इससे छत्तीसगढ़ को स्वास्थ्य बनाये रखना संभव हो सकेगा,माननीय मुख्यमंत्री जी के पत्र पढ़ने के बाद प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए नवीन शिक्षक संघ छ. ग.प्रदेश अध्यक्ष विकास सिंह राजपूत ने मुख्यमंत्री महोदय को नवीन शिक्षक संघ छत्तीसगढ़ के तरफ से धन्यवाद देते हुए कहा है कि जब-जब राष्ट्र व राज्य पर किसी भी प्रकार का संकट आया है तब-तब सभी शिक्षक शासन के दिशा-निर्देश पर चलकर संकट से निपटने में शासन का सहयोग किया है उसी प्रकार वर्तमान में कोरोना वाइरस के रूप में पूरे विश्व सहित भारत व छत्तीसगढ़ में भी महामारी रूपी संक्रमण फैल रहा है इस संक्रमण के रोकथाम के लिए प्रदेश के समस्त शिक्षक जन-जागरण अभियान शासन के दिशा-निर्देश का पालन करते हुए सामुदायिक दूरी बनाकर चलाने की बात कही है जिससे राज्य शासन के साथ मिलकर राज्य से कोरोना वाइरस को समाप्त किया जा सके,प्रदेश अध्यक्ष विकास सिंह राजपूत ने माननीय मुख्यमंत्री जी को आश्वस्त किया है कि छ. ग.राज्य के प्रत्येक शिक्षक कोरोना वाइरस को प्रदेश से समाप्त करने राज्य शासन के दिशा-निर्देश पर चलकर शासन को पूर्ण सहयोग करेंगे,नवीन शिक्षक संघ छ. ग.ने राज्य के समस्त नागरिको से घर पर रहकर सुरक्षित रहने,बिना कार्य के घर से बाहर न निकलने,समय-समय पर हाथ धोने,सर्दी,जुकाम,खांसी,बुखार होने पर डॉक्टर से जांच कराने की अपील की है जिससे छ. ग.प्रदेश कोरोना वाइरस से पूर्ण रूप से मुक्त हो सके।